मन की शक्ति Anupama Ravindra Singh Thakur
मन की शक्ति
Anupama Ravindra Singh Thakurसर्वोच्च शक्ति है मन की शक्ति,
इस पर नियंत्रण से ही होती है सफलता की प्राप्ति।
जप, तप, उपवास से की जाती है
इस पर नियंत्रण की युक्ति,
उपवास करके भी हो अगर खाने पर आसक्ति,
स्वादिष्ट मिठाईयाँ
अगर हमें अपनी और लुभाती,
फिर निरर्थक है उपवास की युक्ति
तब बढ़ानी होगी हमे मन की शक्ति।
तप करके भी अगर ना मिले मन को शांति,
निराशा अगर हमें हर समय घेरे रहती,
तो बढ़ानी होगी हमें मन की शक्ति।
जप के समय अगर चिन्ताएँ हैं सताती,
कोई टीस हृदय में
अगर है बार-बार उठती,
तो बढ़ानी होगी हमें मन की शक्ति।
ईश्वर स्मरण के समय भी
अगर न मिले विचारों से मुक्ति,
भूली बिसरी यादें,
स्मरण में है बाधा डालती,
तो बढ़ानी होगी हमें मन की शक्ति।
विद्या मंदिर में बैठकर भी
अगर हो चंचल मन की गति,
हो रही हो अगर हर दिन
अभ्यास की क्षति,
तो बढ़ानी होगी हमें मन की शक्ति।
प्राप्त करनी हो
अगर हमें यह विभूति,
तो अपनानी होगी पूर्वजों की
साधना और ध्यान पद्धति,
ऋषि दुर्वासा, विश्वमित्र की यह धरती
हर किसी को यही संदेश है देती,
अगर करनी हो अपने लक्ष्य की प्राप्ति
जप, तप,साधना और ध्यान से
बढ़ाओ मन की शक्ति।
मन की शक्ति ही हमें
हीन भावना से है उबारती,
बढ़ेगी अगर मन की शक्ति तभी होगी प्रगति,
सर्वोच्च शक्ति है, मन की शक्ति।