बेटी को बलवान करो PREM KUMAR KULDEEP
बेटी को बलवान करो
PREM KUMAR KULDEEPदुराचारियों से बचने को
बेटी को मजबूत करो,
उन्हें सुरक्षा देने को अब
ऐसा कुछ मज़मून करो।
सेल्फ डिफेन्स की शिक्षा का
अब घर-घर में इंतजाम करो,
वो पापी को मार गिराए
बेटी को बलवान करो।
बेटी है अनमोल धरोहर
वो सब की है पालन हार,
उसके बिना यह स्रष्टि सूनी
उसका तुम सम्मान करो।
चुस्त-दुरस्त हो पुलिस प्रशासन
और बेटियाँ माकूल हों,
दुराचारी को तुरंत सजा हो
ऐसे कुछ उपाय करो।
खूब पढ़े और खूब लिखे
बेटी हमारा भविष्य है,
चाँद पे घूमे बन के कल्पना
ऐसा सुंदर माहौल करो।
दुष्कर्मियों को घर से निकालो
उनको आश्रय न मिले कहीं,
जेल ही उनका जीवन हो
ऐसे सख्त प्रबंध करो।
इंसा हो तुम इंसा बन जाओ
नारी का मत अपमान करो,
बेटी-बहू की घर-घर पूजा हो
“प्रेम” से ऐसा कुछ इंतजाम करो।
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दोस्तों जैसा कि कहा गया है मनुष्य जीवन के हर घर में, हर परिवार में बेटी का होना बहुत जरुरी है तथा बेटी के बिना हमारा घर और समाज अधूरा सा लगता है | इसलिए बेटियों का सम्मान होना चाहिए, उन्हें न केवल सुरक्षा बल्कि शिक्षा और ज्ञान मिलना चाहिए ताकि वो कंधे से कन्धा मिलाकर समाज, विज्ञान और तकनीकी विकास में सहयोगी बन सके। बेटियों पर होने वाले अत्याचार एवं शोषण से उन्हें कैसे बचाना है और उन्हें ऐसी घटनाओं से कैसे मुकाबला करना है, मेरी यह कविता इसी पर प्रकाश डालती है। हमें अपनी बेटियों को कमजोर नहीं अपितु सक्षम बनाना है मजबूत बनाना है बलवान बनाना है।